आगरा में दशकों पुराने ‘अम्बेडकर भवन’ को अतिक्रमण बताकर हटाए जाने की कार्रवाई से स्थानीय लोगों में गहरा आक्रोश है। यह भवन वर्षों से समाज हित और जनकल्याण से जुड़ी गतिविधियों का केंद्र रहा है, जिसे हटाए जाने पर जनता ने नाराजगी जताई है। इस मामले को लेकर बसपा प्रमुख मायावती ने भी केंद्र सरकार से हस्तक्षेप की मांग की है। उन्होंने अपने ट्वीट में कहा कि सरकार को इस घटना के साथ-साथ देशभर में बाबा साहेब डॉ. भीमराव अम्बेडकर के नाम पर चल रही अन्य संस्थाओं के खिलाफ हो रही ऐसी ही कार्रवाईयों का संज्ञान लेना चाहिए और उचित कदम उठाना चाहिए। मायावती ने यह भी सवाल उठाया कि क्या यही है सरकार का अम्बेडकर प्रेम? स्थानीय नागरिकों का कहना है कि ‘अम्बेडकर भवन’ का ऐतिहासिक और सामाजिक महत्व रहा है, ऐसे में इसे हटाना अनुचित है। जनता ने प्रशासन से इस फैसले पर पुनर्विचार करने की मांग की है। इस घटना के बाद मामला राजनीतिक रूप से गर्मा गया है और अब सभी की नजरें केंद्र सरकार के अगले कदम पर टिकी हैं।